Friday, May 9, 2008

दो घंटे में ढाई सौ क्लिक्स

दो घंटे में ढाई सौ क्लिक्स
जी हाँ और ये कमाल मेरे धाँसू कार्टूनों का नही है इसके पीछे का राज़ बड़ा जोरदार है. दरअसल मेरा 'बामुलाहिजा' मायवेबदुनिया.कॉम पर भी है. वहाँ पर ऐसा होता है की नए पोस्ट किए गए ब्लॉग वेबदुनिया के होम पेज पर दिखाई देते हैं. इसी सिलसिले में मेरा ब्लॉग भी था. और कल की पोस्ट का शीर्षक था 'महिलाएं और महिलाओं का विधेयक'. जिसे पूरा लिखने की बजाय ''महिलाएं और महिलाओं का....' लिखा गया था. मेरे बाद किसी और का ब्लॉग था जिसकी पोस्ट का शीर्षक था 'अकेलापन' अब इन दोनों पोस्टों के शीर्षकों ने आपस में मिलकर वह कमाल किया की २ घंटे में मेरी पोस्ट पर २५० क्लिक्स थे. ये सिलसिला तब तक चला जब तक की वेबदुनिया के होम पेज पर से मेरे ब्लॉग का लिंक हट नही गया. मेरे ब्लॉग का लिंक वहाँ से दिखना बंद होने के बाद ये सिलसिला धीमा हुआ और ये सिलसिला ३२५ के आंकडे तक पहुँच पाया।
आपके लिए इस मजेदार घटना का स्क्रीन शॉट भी दे रहा हूँ ...
इमेज को बड़ा देखने की लिए उस पर क्लिक करें ।


10 comments:

Shiv said...

कीर्तीश जी, इस बात पर एक कार्टून बनाईये...:-)

Gyan Dutt Pandey said...

यह तो बहुत ही मजेदार है! महिलाओं का अकेलापन कौन नहीं शेयर करना चाहेगा! :D
(भगवान करें मेरा कमेण्ट नारीवादी बवाल न खड़ा कर दे।)

कुश said...

ye bhi khoob rahi..

Anand Nirmal Jain said...

Mahilayem tatha Mahilaon ka...

Dhanyawad karna mat bhooliyega.

संजय बेंगाणी said...

महिला और अकेली....!!! ये तो होना ही था. पता नहीं कब सुधरेंगे :)

आनंद said...

आपका यह पोस्‍ट ही अपने आप में एक बड़ा व्‍यंग्‍य है। अब इससे बेहतर कार्टून क्‍या होगा। - आनंद

Arun Arora said...

बधाई हो जी,देखा महिलायो के नाम का सहारा लेते ही आपको कितने हिट मिले ,अब आप लगे हातो हर कार्टून मे ५०% हिस्सा महिलाओ के लिये सुरक्षित रख दो जी :)

ALOK PURANIK said...

जमाये रहिये।

Udan Tashtari said...

माहोल बनाये रखिये. बधाई.

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आप हिन्दी में लिखते हैं. अच्छा लगता है. मेरी शुभकामनाऐं आपके साथ हैं इस निवेदन के साथ कि नये लोगों को जोड़ें, पुरानों को प्रोत्साहित करें-यही हिन्दी चिट्ठाजगत की सच्ची सेवा है.

एक नया हिन्दी चिट्ठा किसी नये व्यक्ति से भी शुरु करवायें और हिन्दी चिट्ठों की संख्या बढ़ाने और विविधता प्रदान करने में योगदान करें.

शुभकामनाऐं.

-समीर लाल
(उड़न तश्तरी)

mamta said...

पहले तो बधाई स्वीकारें ३२५ हिट्स की।
पर क्या आपको भी ऐसे हिट्स की जरुरत है। :)
शिव जी की बात से सरोकार है।